Logo
Breaking News Exclusive
शौचालय की सुविधा न होने की बात कही, तो अधिकारी और भड़क गए, अभद्रता का VIDEO वायरल महाकाल मंदिर में प्रवेश नहीं मिलने से आहत असद खान बने ‘अथर्व त्यागी’, 21 ब्राह्मणों ने कराया संस्कार पुरानी रंजिश में आदतन अपराधी को मार डाला, 24 घंटे में 11 आरोपी गिरफ्तार तेज रफ्तार बाइक सवार डिवाइडर से टकराए, सड़क पर घिसटाए, एक मौत, एक घायल पूर्व कर्मचारी ने व्यापारी का डंडे से सिर फोड़ा, पैसे लूटकर भागा मिशनरियों का धर्मांतरण का धंधा बंद हो गया है, इसलिए पूर्व CM को साधु-संत BJP का एजेंट लग रहे ट्रक के जरिए ओडिशा से छत्तीसगढ़-UP के रास्ते राजस्थान ले जा रहे थे, 3 तस्कर गिरफ्तार लड़की नाबालिग थी, बालिग होने पर शादी कराने की तय हुई थी बात Unnao Rape Case में सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर लगाई रोक, कुलदीप से 2 हफ्ते में जवाब मांगा खर्च हिसाब के विवाद में युवक को डंडे से पीट-पीटकर मार डाला, मातम में बदली खुशियां शौचालय की सुविधा न होने की बात कही, तो अधिकारी और भड़क गए, अभद्रता का VIDEO वायरल महाकाल मंदिर में प्रवेश नहीं मिलने से आहत असद खान बने ‘अथर्व त्यागी’, 21 ब्राह्मणों ने कराया संस्कार पुरानी रंजिश में आदतन अपराधी को मार डाला, 24 घंटे में 11 आरोपी गिरफ्तार तेज रफ्तार बाइक सवार डिवाइडर से टकराए, सड़क पर घिसटाए, एक मौत, एक घायल पूर्व कर्मचारी ने व्यापारी का डंडे से सिर फोड़ा, पैसे लूटकर भागा मिशनरियों का धर्मांतरण का धंधा बंद हो गया है, इसलिए पूर्व CM को साधु-संत BJP का एजेंट लग रहे ट्रक के जरिए ओडिशा से छत्तीसगढ़-UP के रास्ते राजस्थान ले जा रहे थे, 3 तस्कर गिरफ्तार लड़की नाबालिग थी, बालिग होने पर शादी कराने की तय हुई थी बात Unnao Rape Case में सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर लगाई रोक, कुलदीप से 2 हफ्ते में जवाब मांगा खर्च हिसाब के विवाद में युवक को डंडे से पीट-पीटकर मार डाला, मातम में बदली खुशियां

: सिकल सेल संस्थान का भूमिपूजन: CM बघेल ने रखी आधारशिला, कहा- सेंटर ऑफ एक्सीलेंस का फायदा पड़ोसी राज्यों के मरीजों को भी मिलेगा, जानिए क्या बोले मंत्री सिंहदेव ?

Bhoomipujan of Sickle Cell Institute in Raipur: मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज राजधानी रायपुर के देवेन्द्र नगर चौक जेल रोड में सिकल सेल संस्थान के सेंटर ऑफ एक्सीलेंस का भूमिपूजन किया। इस संस्थान का 2.96 एकड़ भूमि में किया जाएगा, जिसमें 48 करोड़ 12 लाख रूपए की लागत आएगी। इस सेंटर ऑफ एक्सीलेंस में विश्वस्तरीय सुविधाएं उपलब्ध होगी। यह पहल न केवल प्रदेश के लोगों के लिए, बल्कि सीमावर्ती राज्यों के लिए भी लाभप्रद होगी।

मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए कहा कि पिछले साढ़े चार साल में स्वास्थ्य विभाग में अभूतपूर्व कार्य हुए। स्वास्थ्य जांच के लिए हाट बाजार व शहर में अन्य माध्यम से लोगों को सुविधाएं मिली है। मलेरिया मुक्त बस्तर आभियान तथा बाद में मलेरिया मुक्त छत्तीसगढ़ अभियान चलाया गया जिससे मलेरिया में 65 प्रतिशत तक की कमी आई है। सिकलसेल से छत्तीसगढ़ की आबादी के लगभग 10 प्रतिशत लोग ग्रसित हैं। यह एक बहुत बड़ा आंकड़ा है, इसीलिए यह बड़ी चुनौती भी है। इस चुनौती से निपटने के लिए हमारी सरकार प्रतिबद्धता के साथ लगातार काम कर रही है। सेंटर ऑफ एक्सीलेंस के रूप में राज्य के सिकलसेल संस्थान का उन्नयन होगा, इससे सुविधाएं बढ़ेगी, शोध कार्यों में तेजी आएगी। सिकलसेल की रोकथाम के लिए इलाज के साथ-साथ जागरूकता भी जरूरी है। यदि रोगी का समय पर सही उपचार शुरू कर दिया जाए, समय पर उन्हें दवाइयां उपलब्ध करा दी जाएं, तो उनके शारीरिक दुष्प्रभावों को कम किया जा सकता है। वे भी लम्बी आयु का जीवन जी सकते हैं। इसके लिए सबसे जरूरी है कि समय पर रोग की पहचान कर ली जाए। सिकलसेल के अनुवांशिक गुण वाले व्यक्तियों की पहचान से पूर्व करके उन्हें आवश्यक परामर्श दिया जा सकता है, ताकि इस रोग के प्रसार को भी कम किया जा सके। वर्तमान में सिकलसेल संस्थान द्वारा सिकलसेल मरीजों को जांच, परामर्श, उपचार एवं दवाईयों की सुविधा निःशुल्क प्रदान की जा रही है। अक्टूबर 2022 से प्रदेश के सभी जिला अस्पतालों और शासकीय मेडिकल कॉलेजों में सिकलसेल जांच एवं परामर्श केंद्रों की शुरुआत की जा चुकी है। अब इसे निचले स्तर पर भी विस्तारित किया जा रहा है। विकासखण्ड स्तर पर सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्रों में जांच एवं परामर्श केंद्रों की स्थापना का काम शुरू हो चुका है। इसके बाद प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में भी इसका विस्तार किया जाएगा। ग्रामीण स्तर पर मितानीनों के माध्यम से सिकलसेल मरीजों की पहचान की जाएगी और फिर उन्हें उपचार उपलब्ध कराया जाएगा। कार्यक्रम की अध्यक्षता स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंह ने की। स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने बताया कि 2.96 एकड़ भूमि में सिकल सेल संस्थान छ.ग. रायपुर का उन्नयन सेंटर ऑफ एक्सीलेंस के रूप में किया जा रहा है। जिसका निर्माण 48 करोड़ रुपए की लागत से किया जाएगा, जिसमें आने वाले समय में मरीजों के हित को ध्यान में रखते हुए सभी प्रकार की आधुनिक सुविधाओं की उपलब्धता होगी। 100 बेड की सुविधा होगी। जिसमें आपात् चिकित्सा, ओटी, आईसीयू, ओपीडी, पुरुष वार्ड व महिला वार्ड तथा किड्स वार्ड का निर्माण किया जा रहा है। संस्थान में एक रिसर्च लैब बिल्डिंग भी होगा, जिसमें जेनेटिक लेवल रिसर्च हेतु विभिन्न प्रकार के लैब होंगे,जिससे इस बीमारी के इलाज से संबंधित शोध कार्य किया जा सकेगा। संस्थान में 250 व्यक्तियों की क्षमता का एक ऑडिटोरियम और रिक्रिएशनल ब्लॉक का भी निर्माण किया जा रहा है, ताकि सिकल सेल से पीड़ित बच्चों का मनोरंजन किया जा सके। इसी भवन में कैंटीन का निर्माण किया जा रहा है, ताकि दूर-दराज से मरीज के साथ आए हुए परिजन कैंटीन से भोजन प्राप्त कर सके। इसके अलावा संस्थान में एक प्रशिक्षण ब्लॉक का भी निर्माण किया जा रहा है, जिसमें सिकल सेल से संबंधित स्टॉफ के लिए ट्रेनिंग सेंटर, क्लास रूम व रुकने की व्यवस्था उपलब्ध रहेगी। नवीन भवन परिसर में डॉक्टर्स के लिए 24 फ्लैट का निर्माण किया जा रहा है, ताकि 24 घंटे डॉक्टर की उपलब्धता बनी रहे। Read more- Landmines, Tanks, Ruins: The Afghanistan Taliban Left Behind in 2001 29 IAS-IPS

विज्ञापन

विज्ञापन

जरूरी खबरें

विज्ञापन