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रोजगार सहायक ने जहर खाकर की आत्महत्या: वीडियो भी बनाया, कहा- जनपद सीईओ मांगती है पैसे

Khandwa Employment assistant committed suicide by consuming poison: मध्यप्रदेश के खंडवा जिले में एक रोजगार सहायक ने सल्फास खाकर आत्महत्या कर ली। मरने से पहले रोजगार सहायक ने एक वीडियो भी बनाया। वीडियो में उसने आरोप लगाया है कि उसकी मौत के लिए पुनासा के जनपद सीईओ जिम्मेदार हैं। अगर मैं पैसे दे देता तो मेरी नौकरी चलती रहती।

वीडियो में उसने मध्य प्रदेश सरकार और मोदी सरकार पर भ्रष्टाचार का आरोप भी लगाया है। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष जीतू पटवारी ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म x पर एक वीडियो शेयर कर सरकार पर आरोप लगाए हैं। इंदौर कमिश्नर ने एक आदेश जारी कर जनपद सीईओ को खंडवा जिला पंचायत कार्यालय में अटैच कर दिया है।

पुनासा जनपद सीईओ का काम एसडीएम देखेंगे। पुनासा जनपद की ग्राम पंचायत गुलगांव रैयत में भीम सिंह राठौर के बेटे गजेंद्र पदस्थ थे। मूंदी क्षेत्र निवासी 41 वर्षीय गजेंद्र यहां रोजगार सहायक थे। उन्होंने मंगलवार शाम 5 बजे सल्फास खाने के बाद वीडियो सोशल मीडिया पर अपलोड कर दिया। उन्होंने वीडियो अपने ही मोबाइल फोन से बनाया था।

परिजनों ने बताया कि संभवत: उन्होंने अपने गांव मुंडी के पास केनूद गांव में सल्फास खा लिया। बुधवार को पोस्टमार्टम रूम के बाहर राजपूत समाज के लोग बड़ी संख्या में एकत्र हुए। कांग्रेस नेता उत्तम पाल सिंह ने कलेक्टर से फोन पर बात की। परिवार और समाज के लोग आर्थिक सहायता, सरकारी नौकरी और सीईओ के खिलाफ कार्रवाई की मांग पर अड़े रहे। एसडीएम बजरंग बहादुर के आश्वासन के बाद परिवार ने शव को अंतिम संस्कार के लिए ले लिया।

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ये कहा है वीडियो में

वीडियो में यह कहा गया है मेरी मौत की जिम्मेदार पुनासा जिले की सीईओ रीना चौहान हैं। उनकी वजह से मैं आत्महत्या कर रहा हूं। नहीं, मैं खुद को जला नहीं रहा हूं, मैं जहर खा रहा हूं। भ्रष्टाचार इतना बढ़ गया है कि अगर मैं उन्हें पैसे भी देता तो क्या मेरी नौकरी बचती? मैं अपने बच्चों का पालन-पोषण नहीं कर पा रहा हूं। क्या मैं उन्हें पांच महीने के लिए एक लाख देता? यह मेरा आखिरी संदेश है। अरे ये मध्य प्रदेश सरकार! मोदी सरकार क्या है? सिर्फ भ्रष्टाचार और कुछ नहीं। (वीडियो एक मिनट नौ सेकंड का है। इसमें गजेंद्र की आवाज कांप रही है। अंत में वह आंसू पोंछता नजर आ रहा है।)

कुछ दिनों से तनाव में था

परिजनों के अनुसार गजेंद्र कुछ दिनों से तनाव में था। मंगलवार को वह केनूद में अपने दोस्तों के साथ था। गजेंद्र के 15 और 8 साल के दो बेटे हैं।

मेरे खिलाफ लगाए गए आरोप बेबुनियाद- सीईओ

उधर, मामले में सीईओ रीना चौहान का कहना है कि मेरे खिलाफ लगाए गए आरोप बेबुनियाद हैं। रोजगार सहायक के खिलाफ सेवा समाप्ति की कार्रवाई तत्कालीन जिला पंचायत सीईओ ने की थी।

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