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Nauradehi Sanctuary: मां-नानी के साथ छह शावक सीख रहे शिकार की बारीकियां, नौरादेही में है 12 बाघों का कुनबा

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नौरादेही अभ्यारण्य में घूम रहे छह शावक वर्तमान में अपनी नानी और मां के साथ शिकार की बारीकियां सीख रहे हैं। दोनों ही माताएं अपने बच्चों को शिकार के तरीके सिखा रही हैं। धीरे-धीरे यह शावक बड़े शिकार को भी अपना निशाना बनाने की फिराक में लगे हैं।

नौरादेही अभ्यारण्य में वर्तमान में छह शावक हैं, जो व्यस्क होते जा रहे हैं और गश्ती दल में शामिल वन कर्मियों को यह शावक एक दूसरे के साथ अपनी मां और नानी राधा के साथ भी घूमते हुए दिखाई दे जाते हैं। तो कभी अकेले ही जंगल की सैर पर निकल पड़ते हैं। यह शावक छोटे जानवरों का शिकार कर अपना पेट भरने लगे हैं और मां पर आश्रित रहना कम करते जा रहे हैं। वन कर्मियों ने भी बताया कि नौरादेही में छह शावक हैं, जो 16 से 17 महीने के हो चुके हैं और जंगल में घूमने वाले पालतु पशुओं का शिकार करने लगे हैं। एक सप्ताह में इन शावकों ने अलग-अलग स्थानों पर पालतू जानवरों का शिकार किया है।

जर्मनी से आए सैलानी…

होली पर्व पर जहां पूरे प्रदेश से लोग नौरादेही अभयाणय घूमने आए थे, वहीं जर्मनी से भी विदेशी मेहमान आए थे। जिन्होंने नौरादेही अभ्यारण की जमकर सराहना की, क्योंकि यहां की वनस्पति, जलवायु, नदियां तालाब में पर्याप्त पानी है, जिनमें अनेक तरह के जीव-जंतु उन्होंने देखे।

रेजों में चल रहा सफाई सुरक्षा कार्य…

अभ्यारण्य के अंतर्गत छह रेंज में आती हैं और सभी रेंज में शाकाहारी, मांसाहारी जानवर फैले हुए हैं जो अपना आशियाना बनाकर अलग-अलग ठिकानों पर रह रहे हैं। गर्मी शुरू होते ही जंगलों में आग का खतरा बढ़ जाता है। इसलिए अभ्यारण्य की सभी रेंज में वर्तमान समय में सफाई सुरक्षा कार्य बड़े जोरों से चल रहा है, जिससे आग से जंगल सुरक्षित रह सकें। क्योंकि कभी भी आग लगती है तो उसमें जंगली जानवरों को भी बड़ा नुकसान हो सकता है।

दूसरी बाघिन के गर्भवती होने की पुष्टि नहीं…

अभ्यारण्य में बाघिन राधा ने पहली बार दो मादा और एक पुरुष शावक को जन्म दिया था। इनमें बाघिन की बेटी एन-12 ने दो शावकों को जन्म दिया था। साथ ही बाघिन राधा ने दूसरी बार में छह नवंबर 2021 को चार शावकों को जन्म दिया, लेकिन राधा की दूसरी बेटी अभी तक गर्भवती नहीं हुई। जबकि बीच-बीच में इस बात की चर्चाएं होती हैं कि एन 11 भी गर्भवती है। इसके संबंध में जब नौरादेही अभ्यारण्य के अधिकारियों से चर्चा की तो किसी ने भी राधा की पहली संतान में जन्मी दूसरी बाघन के गर्भवती होने की पुष्टि नहीं की।

नौरादेही अभ्यारण में बाघ और बाघिन पूरी तरह सुरक्षित हैं। नौरादेही के उपवन मंडल अधिकारी सेवाराम मलिक ने बताया कि गर्मियों का समय चल रहा है। इसलिए जंगलों को आग से बचने के लिए क्षेत्र में सफाई के कार्य में पूरा अमला लगा हुआ है। शावक 15 महीने की उम्र से शिकार करने लगते हैं। नौरादेही के छह शावक 15 माह से ज्यादा के हो चुके हैं और सभी स्वस्थ्य हैं और शिकार भी करने लगे हैं।

बता दें कि नौरादेही में साल 2018 में एक बाघ और एक बाघिन राधा को लाया गया था और राधा ने ही यहां बाघों का कुनबा बढ़ाया है और संख्या 11 पहुंच गई। जबकि एक बाघ नौरादेही अभयारण्य को उपहार स्वरूप मिल गया जो शायद पन्ना टाइगर रिजर्व से चलते हुए नौरादेही पहुंच गया और बाघ किशन और बाघिन राधा के परिवार ने उसे अपना भी लिया और उसे यहां रहते हुए दो साल हो गए हैं।

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