छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान शुक्रवार तड़के हुए बवाल के बाद पुलिस सवालों के घेरे में है। करीब दो घंटे चले उपद्रव के समय पुलिस नदारद रही। ऐसे में अब SSP पारुल माथुर ने भी मातहतों से सवाल पूछा है कि उस समय पुलिसकर्मी कहां थे। उन्होंने करोना चौक और सदर बाजार जैसी संवेदनशील जगह पर तैनात पुलिसकर्मियों की रिपोर्ट मांगी है। साथ ही जांच की जिम्मेदारी सिटी कोतवाली CSP को सौंप दी गई है। अभी तक इस मामले में दोनों पक्षों से 18 लोग गिरफ्तार किए गए हैं।
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पहले आगे जाने को लेकर हुआ विवाद शहर में नवरात्रि के बाद गुरुवार रात से प्रतिमाओं का विसर्जन शुरू हुआ था। शुक्रवार तड़के करीब 4 बजे चांटीडीह दुर्गा समिति और कुदुदंत दुर्गात्सव समिति के बीच विवाद हो गया। दोनों पक्ष पहले आगे जाने पर अड़े थे। बात इतनी बढ़ी की दोनों के बीच मारपीट शुरू हो गई। दोनों पक्ष के युवक लाठी-डंडे और रॉड लेकर एक-दूसरे से भिड़ गए। ईंट-पत्थर चलने लगे। सड़क किनारे खड़े लोगों को भी निशाना बनाया गया। इसके बाद भी पुलिस नहीं पहुंची, जबकि इसे पहले ही रोका जा सकता था।
सोशल मीडिया में वायरल हो रहा वीडियो सोशल मीडिया में युवकों की गुंडागर्दी और दहशतगर्दी का वीडियो वायरल हो रहा है। इसमें महिलाओं से उपद्रवी गाली-गलौज करते दिखाई दे रहे हैं। महिलाओं ने उनका यह वीडियो बनाया, इसके बाद ही यह सब हो रहा है। सोशल मीडिया में इन युवकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग उठ रही है। इस विवाद को सोशल मीडिया में कुछ लोग सांप्रदायिक रंग देने की कोशिश भी करते रहे। हालांकि उनकी कोशिश सफल नहीं हो सकी। इन सबके दबाव के बाद अब पुलिस भी हरकत में आई है।
वायरल वीडियो से की जा रही उपद्रवियों की पहचान एडिशनल SP राजेंद्र जायसवाल ने बताया कि वायरल वीडियो के आधार पर आरोपियों की पहचान की जा रही है। अभी तक 18 आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है, जबकि 15 अन्य की पहचान की गई है। पकड़े गए आरोपियों में चांटीडीह निवासी शैलेष कश्यप, पप्पू कौशिक, बिट्टू उर्फ सूरज यादव, दीपक साहू, नितेश कश्यप, देव भद्रराजा, कुदुदंड निवासी अनिकेत यादव, अनुराग उर्फ बजरंग यादव, नीरज जायसवाल, शुभम द्विवेदी, राहुल राजपूत, सरकंडा निवासी हिमांशु राई सहित नाबालिग शामिल हैं। आयोजनकर्ता भी उपद्रव से शर्मिंदा प्रदेश के सबसे बड़े दुर्गा विसर्जन के इस आयोजन में पहली बार इस तरह की घटना हुई है। इसके बाद शहर के दुगोत्सव समिति के आयोजनकर्ता खुद शर्मिंदगी महसूस कर रहे हैं। इस घटना के लिए समिति के पदाधिकारियों को ही दोषी मान रहे हैं। उन्होंने इस गंभीर मुद्दे पर चर्चा करने और ऐसी समितियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने के लिए हरदेव लाल मंदिर में बैठक भी बुलाई है। संभवत: शनिवार को शहर के दुर्गा समिति के पदाधिकारी यह बैठक बुला रहे हैं। SSP बोलीं- सांप्रदायिकता फैलाने वालों पर भी है नजर SSP पारुल माथुर ने ने कहा कि घटना में शामिल सभी आरोपियों की गिरफ्तारी की जा रही है। घटना के वक्त पुलिसकर्मियों के गायब होने के संबंध में भी जांच कराई जाएगी। सिटी कोतवाली CSP स्नेहिल साहू को इसकी जांच कर शीघ्र रिपोर्ट प्रस्तुत करने के लिए कहा गया है। वहीं, दो गुटों के इस विवाद को सांप्रदायिक रंग देने वालों के खिलाफ भी सख्ती से कार्रवाई करेंगे। सोशल मीडिया में अफवाह फैलाकर माहौल बिगाड़ने वालों पर साइबर सेल की नजर है। ऐसे शरारती तत्व भी बक्शे नहीं जाएंगे।
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छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में दुर्गा प्रतिमा विसर्जन के दौरान शुक्रवार तड़के हुए बवाल के बाद पुलिस सवालों के घेरे में है। करीब दो घंटे चले उपद्रव के समय पुलिस नदारद रही। ऐसे में अब SSP पारुल माथुर ने भी मातहतों से सवाल पूछा है कि उस समय पुलिसकर्मी कहां थे। उन्होंने करोना चौक और सदर बाजार जैसी संवेदनशील जगह पर तैनात पुलिसकर्मियों की रिपोर्ट मांगी है। साथ ही जांच की जिम्मेदारी सिटी कोतवाली CSP को सौंप दी गई है। अभी तक इस मामले में दोनों पक्षों से 18 लोग गिरफ्तार किए गए हैं।