शंकराचार्य निश्चलानंद बोले- सनातन बोर्ड की जरूरत नहीं: बांटोगे तो कट जाओगे, पर बोले- मोदी और योगी में मिलीभगत, राजनेताओं का स्तर गिर गया

Shankaracharya Nischalanand said- there is no need for Sanatan Board: छत्तीसगढ़ के कवर्धा जिले में पुरी पीठ के शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद सरस्वती ने कहा कि भारत हिन्दू राष्ट्र बनेगा, जिसकी कमान शास्त्रों में वर्णित अनुसार मंत्रिमंडल का गठन होगा। इसमें सभी वर्गों को प्राथमिकता दी जाएगी। मंत्रिमंडल में 4 शिक्षाविद ब्राह्मण, 8 क्षत्रिय, 21 कृषि गोरक्ष और वाणिज्य को क्रियान्वित करने वाले अर्थशास्त्र के विशेषज्ञ वैश्य शामिल होंगे।
स्वामी निश्चलानंद सरस्वती ने कहा कि इसके साथ ही मंत्रिमंडल में 3 शूद्र भी होंगे, जिन पर कुटीर उद्योगों के संचालन की जिम्मेदारी होगी। एक सूत सांस्कृतिक मंत्री के रूप में होते थे। यह राजतंत्र कहलाता है। साथ ही कहा कि हमें सनातन बोर्ड की आवश्यकता नहीं है।
शंकराचार्य निश्चलानंद सरस्वती बोले- राजनेताओं का स्तर गिर गया
दरअसल, शंकराचार्य 12 से 15 फरवरी तक कवर्धा के प्रवास पर हैं। जहां उन्होंने गुरुवार को यूनियन चौक स्थित संगोष्ठी स्थल में पत्रकारवार्ता ली। उन्होंने कहा कि विश्व में 204 देश हैं। राजनेताओं का स्तर इतना गिर गया है कि वह देशी-विदेशी कंपनियों को ठेका देते हैं। देश विदेश की 13 कंपनियां विश्व के देशों का संचालन कर रही हैं।
उन्होंने कहा कि यह राजनेताओं की दुर्बलता है। राजनीति का अर्थ दंड नीति, अर्थ नीति, छात्र धर्म भी है। उन्माद पूर्ण शासन करने का नाम राजनीति नहीं है। उन्होंने कहा कि कूटनीति के पांच भेद का वर्णन शास्त्रों में किया गया है, जिनमें नमन, मिलन, दमन, अंकन और अनुगमन शामिल है। यह कूटनीति के पांच प्रकार हैं।
मां भगवती ने बुलवाया है, तो हिन्दू राष्ट्र बनेगा ही
शंकराचार्य स्वामी निश्चलानंद ने हिन्दू राष्ट्र पर कहा कि जब हम पुरी में अपने कमरे में गए तो वहां एक दीवार पर मां भगवती का एक रूप है। जैसे ही हमने देखा तो हमारे मुख से तीन बार हिन्दू राष्ट्र, हिन्दू राष्ट्र, हिन्दू राष्ट्र शब्द निकल गए। जब मां भगवती ने बुलवाया है, तो हिन्दू राष्ट्र बनेगा ही।
12 फरवरी को बीत चुका महाकुंभ
शंकराचार्य ने महाकुंभ को लेकर कहा कि हर बारह वर्ष में कुंभ होता है। यह जो 144 वर्ष बाद महाकुंभ आया हुआ था, वह बीते दिनों 12 फरवरी को बीत चुका है।
सनातन बोर्ड की आवश्यकता नहीं
सनातन बोर्ड की मांग को लेकर शंकराचार्य ने कहा कि सनातन बोर्ड की क्या जरूरत है। सनातन धर्म में यह व्यवस्था ईस्वी से चली आ रही है। ऋग्वेद, यजुर्वेद, सामवेद, अथर्ववेद से जुड़े चार शंकराचार्य हैं, जो भाजपा या कांग्रेस से संबंधित नहीं हैं। हम किसी और से तुलना नहीं करना चाहते।
सरदार पटेल मैदान में धर्मसभा
आदित्य वाहिनी के प्रदेश उपाध्यक्ष अवधेश नंदन श्रीवास्तव ने बताया कि शुक्रवार को शंकराचार्य 11:30 बजे यूनियन चौक में हिंदू राष्ट्र संगोष्ठी पर धर्म अध्यात्म और राष्ट्र के संबंध में श्रद्धालुओं की विविध जिज्ञासाओं का समाधान करेंगे। पादुकापूजन और दीक्षा का भी कार्यक्रम होगा। शाम 5 बजे से सरदार पटेल मैदान में धर्म सभा को संबोधित करेंगे।
Read More- Landmines, Tanks, Ruins: The Afghanista Taliban Left Behind in 2001 29 IAS-IPS