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लाल सिंदूर के पीछे जुर्म का काला नक़्शा: 23 की उम्र में की 25 शादियां, मेकअप करके सोती थी, दिन में 3 बार नहाती थी, पढ़िए लुटेरी दुल्हन की कहानी

चेहरे पर मासूमियत का नकाब, हाथ में सिंदूर की थाली और होंठों पर मोहक मुस्कान। मगर दिल में बसा था साज़िशों का समंदर… ये कोई फिल्मी स्क्रिप्ट नहीं, बल्कि 23 साल की शातिर और खतरनाक लुटेरी दुल्हन अनुराधा पासवान की असली कहानी है, जिसे राजस्थान पुलिस ने भोपाल के पन्नाखेड़ी गांव से गिरफ्तार किया है। 15 दिन में दूल्हा बदलने वाली इस ‘नकली नवेली’ ने अब तक 25 शादियां कर दर्जनों लोगों को ठगा और फरार हो जाती थी जैसे किसी नाटक का परदा गिरता हो।

क्राइम की नायिका, साजिश की महारानी

साफ-सुथरी साड़ी, चेहरे पर हल्का-हल्का काजल, और महंगे इत्र की खुशबू से लिपटी यह औरत हर रोज़ तीन बार नहाती थी, रात को मेकअप करके सोती थी। किसी को क्या पता था कि ये ‘नवेली दुल्हन’ असल में धोखा देने की मास्टरमाइंड है।

अनुराधा का क्राइम टारगेट एकदम तय होता था

“शादी के बाद 15 दिन में ससुराल से माल समेटो और फिर रफूचक्कर…” शिकायत से खुला राज, भोपाल से हुआ पर्दाफाश राजस्थान के सवाई माधोपुर के विष्णु शर्मा की आंखें आज भी सुलगती हैं। उन्होंने अपनी नई-नवेली बीवी के लिए दो लाख रुपए दिए, शादी की, और 12 दिन बाद… दुल्हन फरार। साथ ले गई जेवर, नकदी और मोबाइल।

जब विष्णु ने दूसरे नंबर से फोन मिलाया, तो वो ठंडी आवाज आई—”मैं भाग गई हूं… टाइम पूरा हो गया था।” विष्णु को उस वक़्त लगा जैसे किसी ने उसके अरमानों पर तेज़ाब डाल दिया हो।

गिरफ्तारी ऐसे हुई जैसे किसी स्क्रिप्ट का क्लाइमेक्स

राजस्थान पुलिस ने भोपाल में ऑपरेशन चलाया। स्थानीय मुखबिरों से जानकारी जुटाई, फिर एक सिपाही को नकली दूल्हा बना फर्जी शादी कराने भेजा गया। फोटोज़ में पहचान हुई— वो ही अनुराधा थी।

पन्नाखेड़ी गांव में छापा मारा गया, जहां 6 दिन पहले ही एक और भोले युवक को अपना दूल्हा बना चुकी थी। माल समेटने ही वाली थी, तभी पुलिस ने दबोच लिया।

जब ससुराल वाले भी बोल उठे— पहले पैसे दो जब पुलिस अनुराधा को लेने पहुंची तो उसके नए ससुराल वाले भी चौंक गए। बोले: “हमने तो दो लाख रुपए देकर एग्रीमेंट किया है। पहले पैसे दिलाओ, फिर ले जाना बहू को।” पुलिस ने जवाब दिया—”बहू नहीं, मुल्ज़िमा है ये… केस दर्ज कराओ, तब मिलेगा सब कुछ।”

गिरोह की चालबाज़ी: जहां मौका ना मिले, वहां खुद एजेंट छुड़ाने पहुंचते

अनुराधा ने कबूल किया कि हर जगह 15 दिन का टारगेट होता था। अगर ससुराल वाले ज़्यादा चौकसी करते तो गिरोह के एजेंट खुद घर आकर कहते— “लड़की को पसंद नहीं आया दूल्हा, हम वापस ले जा रहे हैं।” कभी-कभी ठगी के पैसे भी वापस कर देते ताकि शक न हो।

2016 में शादी, दो बच्चे… मगर 25 फर्जी शादियां और कोई तलाक नहीं

अनुराधा की असली शादी 2016 में यूपी के विशाल नामक युवक से हुई थी। दो बच्चे भी हैं। मगर तलाक नहीं हुआ। विशाल को तो ये तक नहीं पता था कि उसकी पत्नी नकली शादियों का पूरा गैंग चला रही है।

ये अकेली नहीं, पूरा गिरोह है… 15-20 और ‘दुल्हनें’ हैं तैयार

राजस्थान पुलिस को जांच में पता चला है कि फर्जी शादी गिरोह एक संगठित क्राइम नेटवर्क बन चुका है। भोपाल के रघुवीर, गोलू और मजबूत सिंह यादव एजेंट की भूमिका में होते हैं। सुनीता राठौड़ और पप्पू मीणा ने विष्णु से अनुराधा की शादी करवाई थी। इनके भी तलाश जारी है।

सबक: प्यार में आंखें बंद न करें, वरना दुल्हन के नाम पर दहशत मिलेगी

यह मामला सिर्फ एक अपराध नहीं, एक सामाजिक चेतावनी है। शादी जैसे पवित्र रिश्ते को निशाना बना कर अपराधी अब आपके दरवाज़े तक पहुंच चुके हैं। प्यार में भरोसा जरूरी है, लेकिन अंधा भरोसा खतरनाक हो सकता है।

जुर्म की ये कहानी यही नहीं रुकती… पुलिस को उम्मीद है कि इस गिरोह के और भी राज़ खुलेंगे। क्योंकि ये कोई आम दुल्हन नहीं… ये ‘लुटेरी दुल्हन’ है, जो सिंदूर के पीछे छुपाकर लाई थी जुर्म का पूरा नक़्शा।

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