MP News: प्रवासी सम्मेलन का कवरेज करने के लिए मीडिया से प्रवासी विभाग मांग रहा साढ़े सात हजार रुपये

सार
मीडियाकर्मियों को भी रजिस्ट्रेशन के लिए प्रवासी दिवस की वेबसाइट पर मीडिया कैटेगरी दी गई है। जब कुछ मीडियाकर्मियों ने ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए जानकारी फीड की तो अंत में एप्लाय के पहले 7500 रुपये की राशि भरने को कहा गया।

पंजीयन के लिए साढ़े सात हजार रुपये की डिमांड
– फोटो : amar ujala digital
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विस्तार
जनवरी में इंदौर में होने वाले सत्रहवें प्रवासी भारतीय सम्मेलन का कवरेज करना मीडिया को ‘महंगा’ पड़ सकता है। संभवत: यह पहला मौका होगा जब इतने प्रतिष्ठापूर्ण आयोजन के लिए मीडियाकर्मियों के सामने शुल्क भरने की शर्त रखी गई है। प्रवासी सम्मेलन की वेबसाइट www.pbdindia.gov.in पर मीडिया कैटेगरी में रजिस्ट्रेशन करने पर राशि मांगी जा रही है। वो भी पूरे साढ़े सात हजार रुपये। ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन भरने वाले कुछ पत्रकार राशि भरने की शर्त देखकर चौंक गए और विभाग से जुड़े अफसरों को इसकी जानकारी दी। अब अफसर वेबसाइट में पेमेंट मोड केे ऑप्शन में बदलाव कर रहे हैं।
इंदौर में केंद्र सरकार और प्रदेश सरकार मिलकर 8 से 10 जनवरी को प्रवासी सम्मेलन आयोजित करने जा रही है। इस सम्मेलन में 4 हजार से अधिक प्रवासी भारतीय आएंगे। इस आयोजन को राष्ट्रीय मीडिया भी कवर करेगा। मीडियाकर्मियों को भी रजिस्ट्रेशन के लिए प्रवासी दिवस की वेबसाइट पर मीडिया कैटेगरी दी गई है। जब कुछ मीडियाकर्मियों ने ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन के लिए जानकारी फीड की तो अंत में एप्लाय के पहले 7500 रुपये की राशि भरने को कहा गया। मीडियाकर्मी इस बात को लेकर आश्चर्य में है, क्योंकि यह पहला मौका है कि जब किसी इंटरनेशनल इवेंट के कवरेज के लिए राशि मांगी जा रही है। अफसरों को इस बात की जानकारी दी गई तो उन्होंने वेबसाइट में बदलाव करने की बात कही है।
राष्ट्रपति व प्रधानमंत्री भी होंगे शामिल
इंदौर में होने वाले प्रवासी सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू भी शामिल होंगी। इस बार की थीम आत्मनिर्भर भारत रखी गई है। सम्मेलन के लिए शहर के 50 से ज्यादा होटलों के साढे तीन हजार रूम बुक किए जा रहे हैं। सम्मेलन में शामिल मेहमानों को 56 दुकान के व्यापारी मुफ्त में अपने मशहूर व्यंजन खिलाएंगे। सराफा व्यापारी भी सोने की खरीदी में डिस्काउंट देेंगे, लेकिन आश्चर्य की बात है कि इस सम्मेलन को कवर करने वाले मीडियाकर्मियों से सरकार पैसे मांग रही है।