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MP News: खाद के लिए तरसते किसानों पर बीजेपी-कांग्रेस भिड़े, सरकार के दावों की भोपाल में अधिकारी ने निकाली हवा

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मध्य प्रदेश में रबी की फसलों की बुवाई का सीजन चल रहा है। इस बीच किसानों को खाद की किल्लत का सामना करना पड़ रहा है। खाद वितरण केंद्रों पर खाद के लिए लंबी लंबी लाइनें लगी है, लेकिन खाद नहीं मिल रही है। सरकार खाद होने का दावा कर रही है। अब भोपाल के एक अधिकारी ने ही सरकार के दावे की पोल खोल कर रख दी है।
 
भोपाल के बैरसिया में जिला खाद प्रभारी ओपी तिवारी ने मीडिया के सामने खाद की किल्लत के सवाल पर कहा कि यहां का क्षेत्रफल ज्यादा है। जिसके अनुसार हमें खाद नहीं मिल रहा है। हमें पांच प्रतिशत ही खाद मिल रही है। हमने 100 मीट्रीक टन का ऑर्डर लगाया है, जो हमें नहीं मिला है। जिसका हम एडवांस में पेमेंट कर चुके है। बता दें इससे पहले कांग्रेस खाद की किल्लत को लेकर सरकार पर गंभीर आरोप लगाते आई है। वहीं, सरकार सरकार प्रदेश में पर्याप्त मांत्रा में खाद उपलब्ध होने का दावा करती आई है। 
 
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भले ही दावा कर रहे है कि प्रदेश में खाद का संकट नहीं है। कृषि मंत्री पिछले साल की तुलना में ज्यादा खाद बांटने का दावा कर खाद की कमी से इंकार कर रहे है। लेकिन अब उनके अधिकारी के बयान ही उनके दावों पर सवाल खड़े कर रहे है। इससे साफ है कि प्रदेश में खाद की समस्या गंभीर बनी हुई है। बैरसिया समेत कई जगह किसान जरूरत के अनुसार खाद नहीं मिलने की बात कह चुके है। 
 
कांग्रेस सरकार पर खाद उपलब्ध कराने में नाकाम होने का लगातार आरोप लगाती आ रही है। हाल ही में रतलाम जिले के आलोट से विधायक मनोज चावला और उनके सहयोगियों के खिलाफ लूट का मामला दर्ज किया गया। दरअसल कांग्रेस विधायक ने खाद के गोदाम का गेट खोल दिया था। जिसके बाद किसानों ने खाद लूट ली थी। इस मामले में विधायक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। विधायक का कहना था कि किसानों को लाइन में लगने के बावजूद खाद नहीं मिल रही थी। बाजार में कालाबाजारी की जा रही थी। खाद के गोदाम में भी गड़बड़ी मिली थी। वहीं इस मामले में मुख्यमंत्री ने गंभीरता से लिया था। साथ ही बयान जारी कर कहा था कि खाद को लेकर भ्रम फैलाने वालों पर कार्रवाई की जाएगी। 
 
प्रदेश में रबी की सीजन में गेंहू, चना, सरसो, मटर की बुआई होती है। जिसके लिए  किसानों को मांग के अनुसार खाद नहीं मिल पा रही है। हालांकि अधिकारियों का कहना है कि जहां किल्लत की बात सामने आ रही है, वहां डिस्ट्रिब्यूशन की समस्या है। इसके लिए डिफाल्टर सोसायटियों के अलावा पीओएस मशीन की तकनीकी समस्या को बताया जाता है। 

खाद की किल्लत को लेकर हाल ही में पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा था कि किसानों को कब तक खाद के लिए घंटों लाइन में लग परेशान होना पड़ेगा। प्रदेश में खाद की जमाखोरी और कालाबाजारी हो रही है। दूसरी तरफ किसान परेशान हो रहा है। सरकार कालाबाजारी करने वालों को संरक्षण दे रही हैं और किसानों की आवाज उठाने वालों पर झूठे मुकदमें लगा रही है। 

वहीं, खाद की किल्लत को लेकर कृषि मंत्री कमल पटेल ने कहा कि प्रदेश में कहीं कोई खाद की किल्लत नहीं है। प्रदेश में पर्याप्त मात्रा में खाद है। कांग्रेस के राज में कालाबाजारी होती थी। कांगेस ने किसानों को कर्ज माफी का धोखा दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यूरिया को नीमकोटेड किया। कांग्रेस ने क्यों नहीं किया। प्रदेश में किसानों की सरकार है। 

 
 

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मध्य प्रदेश में रबी की फसलों की बुवाई का सीजन चल रहा है। इस बीच किसानों को खाद की किल्लत का सामना करना पड़ रहा है। खाद वितरण केंद्रों पर खाद के लिए लंबी लंबी लाइनें लगी है, लेकिन खाद नहीं मिल रही है। सरकार खाद होने का दावा कर रही है। अब भोपाल के एक अधिकारी ने ही सरकार के दावे की पोल खोल कर रख दी है।

 

भोपाल के बैरसिया में जिला खाद प्रभारी ओपी तिवारी ने मीडिया के सामने खाद की किल्लत के सवाल पर कहा कि यहां का क्षेत्रफल ज्यादा है। जिसके अनुसार हमें खाद नहीं मिल रहा है। हमें पांच प्रतिशत ही खाद मिल रही है। हमने 100 मीट्रीक टन का ऑर्डर लगाया है, जो हमें नहीं मिला है। जिसका हम एडवांस में पेमेंट कर चुके है। बता दें इससे पहले कांग्रेस खाद की किल्लत को लेकर सरकार पर गंभीर आरोप लगाते आई है। वहीं, सरकार सरकार प्रदेश में पर्याप्त मांत्रा में खाद उपलब्ध होने का दावा करती आई है। 

 

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान भले ही दावा कर रहे है कि प्रदेश में खाद का संकट नहीं है। कृषि मंत्री पिछले साल की तुलना में ज्यादा खाद बांटने का दावा कर खाद की कमी से इंकार कर रहे है। लेकिन अब उनके अधिकारी के बयान ही उनके दावों पर सवाल खड़े कर रहे है। इससे साफ है कि प्रदेश में खाद की समस्या गंभीर बनी हुई है। बैरसिया समेत कई जगह किसान जरूरत के अनुसार खाद नहीं मिलने की बात कह चुके है। 

 

कांग्रेस सरकार पर खाद उपलब्ध कराने में नाकाम होने का लगातार आरोप लगाती आ रही है। हाल ही में रतलाम जिले के आलोट से विधायक मनोज चावला और उनके सहयोगियों के खिलाफ लूट का मामला दर्ज किया गया। दरअसल कांग्रेस विधायक ने खाद के गोदाम का गेट खोल दिया था। जिसके बाद किसानों ने खाद लूट ली थी। इस मामले में विधायक के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। विधायक का कहना था कि किसानों को लाइन में लगने के बावजूद खाद नहीं मिल रही थी। बाजार में कालाबाजारी की जा रही थी। खाद के गोदाम में भी गड़बड़ी मिली थी। वहीं इस मामले में मुख्यमंत्री ने गंभीरता से लिया था। साथ ही बयान जारी कर कहा था कि खाद को लेकर भ्रम फैलाने वालों पर कार्रवाई की जाएगी। 

 

प्रदेश में रबी की सीजन में गेंहू, चना, सरसो, मटर की बुआई होती है। जिसके लिए  किसानों को मांग के अनुसार खाद नहीं मिल पा रही है। हालांकि अधिकारियों का कहना है कि जहां किल्लत की बात सामने आ रही है, वहां डिस्ट्रिब्यूशन की समस्या है। इसके लिए डिफाल्टर सोसायटियों के अलावा पीओएस मशीन की तकनीकी समस्या को बताया जाता है। 

खाद की किल्लत को लेकर हाल ही में पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमलनाथ ने कहा था कि किसानों को कब तक खाद के लिए घंटों लाइन में लग परेशान होना पड़ेगा। प्रदेश में खाद की जमाखोरी और कालाबाजारी हो रही है। दूसरी तरफ किसान परेशान हो रहा है। सरकार कालाबाजारी करने वालों को संरक्षण दे रही हैं और किसानों की आवाज उठाने वालों पर झूठे मुकदमें लगा रही है। 

वहीं, खाद की किल्लत को लेकर कृषि मंत्री कमल पटेल ने कहा कि प्रदेश में कहीं कोई खाद की किल्लत नहीं है। प्रदेश में पर्याप्त मात्रा में खाद है। कांग्रेस के राज में कालाबाजारी होती थी। कांगेस ने किसानों को कर्ज माफी का धोखा दिया। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने यूरिया को नीमकोटेड किया। कांग्रेस ने क्यों नहीं किया। प्रदेश में किसानों की सरकार है। 

 

 

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