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कोरबा में राहत की सांस लेते हैं ‘कोबरा’ और इनसान, यह स्नेकमैन बचाता है दोनों की जान, जानें पूरी कहानी

कोरबा. घरवालों को बचाने के लिए 10 साल की उम्र में सांप पकड़ लेने वाले बच्चे को पता नहीं था कि आगे चलकर वह सांपों का रेस्क्यू करने वाला स्नेकमैन बन जाएगा. इस बच्चे को सांपों से इस प्रकार का लगाव हो गया कि बाद में उसने सांपों को पकड़कर बचाना अपने शौक में शामिल कर लिया और कोरबा में अब लोग उसे स्नेक मैन के नाम से पहचानते हैं.

हम बात कर रहे हैं कोरबा के सर्पमित्र जितेन्द्र सारथी की, जिन्होंने अब तक हज़ारों सांपों का रेस्क्यू कर उनकी जान बचाई है. साथ ही साथ लोगों को सर्पदंश का शिकार होने से भी बचाया हैं. कोरबा जिला चारों ओर से वनों से घिरा है. यहां वन संपदा सहित अनेक प्रकार के वन्य जीव पाए जाते हैं. इनमें रेंगने वाले सर्पों की भी अनेक प्रजातियां शामिल हैं. आए दिन जहरीले सांप जंगलों से निकलकर रेंगते हुए रिहायशी क्षेत्रों में प्रवेश कर जाते हैं. ऐसे में मनुष्य और सांप का टकराव होता है और इसमें तय है कि दोनों में किसी एक का नुकसान होता ही है. लेकिन कोरबा में स्नेक रेस्क्यू टीम के द्वारा जागरूकता लाने के बाद से लोग अब सांपों को मारने के बजाय सर्पमित्रों को सूचित करते हैं, जिनके द्वारा सांपों को पकड़ कर वापस जंगल मे छोड़ दिया जाता है.

कोरबा के जितेंद्र सारथी का दावा है कि उन्होंने अब तक 22 हज़ार सांपों को रेस्क्यू कर सुरक्षित जंगलों में छोड़ा है. जितेंद्र सारथी बताते हैं कि 10 वर्ष की आयु में उन्होंने पहली बार कोबरा पकड़ा था, जिसके बाद से उन्हें बेजुबान जीव जंतुओं के प्रति लगाव होने लगा और तब से ही उन्होंने सेवा भाव से इनका रेस्क्यू करना शुरू किया. जितेंद्र बताते हैं कि जिले के लोग अब जागरूक हो गए हैं. उन्हें सांप दिखता है तो तुरंत रेस्क्यू के लिए सूचना देते हैं.

जितेंद्र का कहना है कि जैसे ही उन्हें कहीं सांप निकलने की सूचना मिलती है, वे वन विभाग की टीम के साथ मौके पर पहुंचकर रेस्क्यू करते हैं. जितेंद्र के अनुसार, बरसात के मौसम में ज्यादा रेस्क्यू किए जाते हैं. उन्होंने बताया कि सबसे बड़े विषधारी किंग कोबरा सहित इंडियन कोबरा, रेट स्नेक, स्पेक्टबल कोबरा, इंडियन पायथॉन, सामान्य करैत, वुल्फ स्नेक, बैंडेड करैत, सेंड बोवा, कुकरी, लिजर्ड, ट्री स्नेक सहित अनेक प्रजातियों के सांपों का रेस्क्यू किया है. इसके लिए उन्हें सम्मानित भी किया जा चुका है.

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FIRST PUBLISHED : January 19, 2023, 20:52 IST

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