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Bialspur: बंद मोबाइल नंबर को कराया एक्टिव, फिर एफडी पर लिया 5.40 लाख का लोन, एटीएम से निकाले 3.34 लाख रुपये

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छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में शातिर ठगों ने बंद हो चुके एक मोबाइल नंबर को फिर से एक्टिव करा महिला के खाते से करीब नौ लाख रुपये निकाल लिए। ठगों ने पहले तो एफडी पर 5.40 लाख रुपये का लोन लिया। फिर खाते से भी एटीएम के जरिए 3.34 लाख रुपये निकाल लिए। जबकि महिला के पास डेबिट कार्ड ही नहीं है। ठगी का पता चलने पर महिला थाने पहुंची और एफआईआर दर्ज कराई। मामला सिविल लाइन थाना क्षेत्र का है। 

जानकारी के मुताबिक, तिलकनगर निवासी कुसुम पंवार का एसबीआई की शाखा में अकाउंट है। उसी खाते में उनकी पेंशन भी आती है। महिला के खाते से पांच फरवरी को एक अज्ञात नंबर से एक रुपये जमा किए गए। इसके बाद एटीएम से रुपये निकाल लिए। जब महिला को बच्चे की फीस जमा करने के लिए रुपयों की जरूरत पड़ी और वह बैंक पहुंची। उन्हें पता चला कि किश्तों में उनके खाते से करीब नौ लाख रुपये निकाले गए हैं। 

महिला ने पुलिस को बताया कि वह फीस के लिए एफडी में से तीन लाख रुपये निकालने गई थीं। तब उन्हें धोखाधड़ी का पता चला। बैंक की ओर से उन्हें बताया गया कि छह लाख रुपये की एफडी पर 5 लाख 40 हजार रुपये का लोन लिया गया है। महिला ने खाते की डिटेल बैंक से निकलवाने के बाद पुलिस में शिकायत की है। यह भी बताया कि यह अकाउंट उनकी बेटी निशा के मोबाइल नंबर से लिंक था। करीब दो साल पहले उनकी बेटी निशा की मौत हो गई। इसके बाद मोबाइल नंबर बंद करा दिया गया था।

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छत्तीसगढ़ के बिलासपुर में शातिर ठगों ने बंद हो चुके एक मोबाइल नंबर को फिर से एक्टिव करा महिला के खाते से करीब नौ लाख रुपये निकाल लिए। ठगों ने पहले तो एफडी पर 5.40 लाख रुपये का लोन लिया। फिर खाते से भी एटीएम के जरिए 3.34 लाख रुपये निकाल लिए। जबकि महिला के पास डेबिट कार्ड ही नहीं है। ठगी का पता चलने पर महिला थाने पहुंची और एफआईआर दर्ज कराई। मामला सिविल लाइन थाना क्षेत्र का है। 

जानकारी के मुताबिक, तिलकनगर निवासी कुसुम पंवार का एसबीआई की शाखा में अकाउंट है। उसी खाते में उनकी पेंशन भी आती है। महिला के खाते से पांच फरवरी को एक अज्ञात नंबर से एक रुपये जमा किए गए। इसके बाद एटीएम से रुपये निकाल लिए। जब महिला को बच्चे की फीस जमा करने के लिए रुपयों की जरूरत पड़ी और वह बैंक पहुंची। उन्हें पता चला कि किश्तों में उनके खाते से करीब नौ लाख रुपये निकाले गए हैं। 

महिला ने पुलिस को बताया कि वह फीस के लिए एफडी में से तीन लाख रुपये निकालने गई थीं। तब उन्हें धोखाधड़ी का पता चला। बैंक की ओर से उन्हें बताया गया कि छह लाख रुपये की एफडी पर 5 लाख 40 हजार रुपये का लोन लिया गया है। महिला ने खाते की डिटेल बैंक से निकलवाने के बाद पुलिस में शिकायत की है। यह भी बताया कि यह अकाउंट उनकी बेटी निशा के मोबाइल नंबर से लिंक था। करीब दो साल पहले उनकी बेटी निशा की मौत हो गई। इसके बाद मोबाइल नंबर बंद करा दिया गया था।

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