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मुंगेली आंगनबाड़ी भर्ती गड़बड़ी से भड़की कांग्रेस: धांधली के खिलाफ CM साय के नाम ज्ञापन, आंदोलन की चेतावानी, क्या ठंडी पड़ गई जांच की आंच ?

Chhattisgarh Mungeli Anganwadi Recruitment Scam Case: छत्तीसगढ़ के मुंगेली जिले का महिला एवं बाल विकास विभाग एक बार फिर सुर्खियों में आया है. आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका भर्ती गड़बड़ी मामले में कार्रवाई नहीं होने से नाराज कांग्रेसियों ने आंदोलन की चेतावनी दी है. दरअसल विभाग में धांधली का आरोप लगाते हुए करीब 2 माह पूर्व कांग्रेसियों ने मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर कार्रवाई की मांग की थी.

Chhattisgarh Mungeli Anganwadi Recruitment Scam Case: मुख्यमंत्री के नाम फिर कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर 7 दिन के भीतर मामले में जांच कर दोषियों पर कार्रवाई व नियम विरुद्ध की गई भर्ती को निरस्त करने की मांग की है. समय अवधि में कार्रवाई नहीं होने पर कांग्रेसियों ने उग्र आंदोलन की बात कही है.

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Chhattisgarh Mungeli Anganwadi Recruitment Scam Case: इस मामले ने मीडिया में काफी सुर्खिंया बटोरी थी, जिसके बाद जिले के प्रभारी मंत्री लखनलाल देवांगन ने इसे संज्ञान में लेते हुए महिला एवं बाल विकास विभाग के अफसरों को गड़बड़ियों को दुरुस्त करते हुए शिकायतों का निराकरण करने के निर्देश दिए थे.

बता दें कि ब्लॉक कांग्रेस कमेटी जरहागांव के पदाधिकारी एवं कार्यकर्ताओं ने शिकायत के बाद भी कार्रवाई नहीं होते देख मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को ज्ञापन सौंपकर 7 दिवस के भीतर मामले में जांच कर दोषियों पर कार्रवाई व नियम विरुद्ध की गई भर्ती को निरस्त करने की मांग की है. समय अवधि में कार्रवाई नही होने पर कांग्रेसियों ने उग्र आंदोलन की बात कही है.

हाल ही में मंत्री लखनलाल देवांगन के गृह जिला कोरबा में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता भर्ती गड़बड़ी मामले पर बड़ा एक्शन हुआ है. वहां पदस्थ कलेक्टर अजीत वसंत ने शिकायत पर विभागीय अफसरों से जांच प्रतिवेदन मांगे थे, जिसके आधार पर शिकयत की पुष्टि होने पर जहां के भर्ती को लेकर शिकायत हुई थी वहां के अपात्र चयनित अभ्यर्थी की नियुक्ति रद्द कर वेटिंग अभ्यर्थियों का चयन किया गया है.

क्या है शिकायत

दरअसल महिला एवं बाल विकास विभाग मंत्रालय की ओर से आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका की भर्ती के लिए जारी गाइडलाइन को दरकिनार कर मुंगेली जिले के जिला मुख्यालय स्थित एकीकृत बाल विकास परियोजना कार्यालय मुंगेली -1 पदस्थ अधिकारी खुद से मनमाफिक नियम बनाकर चहेते अभ्यर्थी को लाभ दिलाने अलग-अलग भर्ती नियम बनाकर भर्ती कर रहे.

Chhattisgarh Mungeli Anganwadi Recruitment Scam Case: यह बात हम नहीं बल्कि कांग्रेसियों ने मुख्यमंत्री के नाम कलेक्टर को दिए लिखित शिकायत में उल्लेखित किया है. शिकायत में यह भी कहा गया है कि पैसे का लेनदेन कर परियोजना कार्यालय के अधिकारियों ने गड़बड़ियों को अंजाम दे रहे.

कैसे दे रहे है गड़बड़ी को अंजाम ?

शिकायतकर्ताओं ने गड़बड़ी की बानगी बताते हुए दस्तावेज उपलब्ध कराया है, जिसमें कहा गया है कि एकीकृत बाल विकास परियोजना कार्यालय मुंगेली -1 में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता के लिए 25 अप्रैल 2023 को विज्ञापन भर्ती निकाली गई, जिसमें विभाग के मंत्रालय द्वारा जारी गाइडलाइंस को अनदेखा कर यह कहा गया है कि प्रभावशाली सूची गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले परिवार की महिला होने पर सक्षम अधिकारी अथवा सरपंच सचिव संयुक्त हस्ताक्षर द्वारा जारी सर्वे सूची का अतिरिक्त अंक दिया जाएगा.

इसमें भथरी, छतौना, बरदुली, करही, चारभाठा, नवागांव घुबरेला, केशरूवाडीह ,धनगांव गो.,पीथमपुर, फरहदा, करही, नूनीयकछार, बलौदी पंचायत की भर्ती शामिल है, लेकिन दो माह बाद इसी परियोजना कार्यालय में 19 जून 2023 को सोढ़ार पंचायत के गांधीनगर के लिए भर्ती विज्ञापन निकाली गई, जिसमें साफ तौर पर लिखा है कि गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन करने वाले परिवार की महिला होने पर प्रभावशील सूची से सक्षम अधिकारी द्वारा जारी प्रमाण पत्र मान्य किया जाएगा. इसमें सक्षम अधिकारी का कहीं उल्लेख नहीं है.

शिकायतकर्ताओं का कहना है कि एक ही परियोजना एक ही अधिकारी द्वारा किस तरह से विभाग के गाइडलाइंस को दरकिनार कर न सिर्फ अलग अलग भर्ती नियम बनाकर विज्ञापन निकाली गई बल्कि अपात्रों का चयन कर दिया गया और पात्र अभ्यर्थी अधिकारियो के मनमाफिक नियम बनाने से वंचित रह गए. ऐसा इसलिए कहा जा रहा है क्योंकि एक विज्ञापन भर्ती में अभ्यर्थी को सरपंच सचिव का प्रमाण पत्र नहीं होने से अमान्य किया गया.

उसी विभाग के एक भर्ती में मान्य कर दिया गया, जबकि जिले के मुंगेली परियोजना 2, लोरमी, पथरिया के परियोजना कार्यालयों में सक्षम अधिकारी द्वारा प्रमाण पत्र पर ही BPL का अतिरिक्त अंक दिया जा रहा है. बल्कि मुंगेली के परियोजना क्रमांक 1 में भी पूर्व में सक्षम अधिकारी के प्रमाणित होने पर 6 अंक दिया जाता रहा है, लेकिन नियमों में फेरबदल कर न सिर्फ गड़बड़ी बल्कि एक बड़े धांधली को अंजाम दिया जा रहा है.

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