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गरियाबंद में ठेकेदारों को मिल रहा पंचायतों का काम: 50 लाख तक के काम में पंचायतों का हक, फिर ठेकेदारों को फायदा क्यों? सरपंच संघ लामबंद

गरियाबंद से गिरीश जगत की रिपोर्ट

Chhattisgarh Gariaband Panchayat work contractor Sarpanch Sangh: गरियाबंद जिले में पंचायतों के अधिकारों की अनदेखी और ठेकेदारी प्रथा के खिलाफ सरपंच संघ लामबंद हो गया है। सरपंचों का आरोप है कि पंचायतों के अधिकारों का हनन करते हुए 1 लाख से लेकर 50 लाख तक के निर्माण कार्य भी ठेकेदारों को दिए जा रहे हैं। मनरेगा कार्यों के आवंटन में भी जिला पंचायत मनमानी कर रही है। काम के अभाव में मजदूर पलायन के लिए मजबूर हो रहे हैं।

सोमवार को मैंनपुर जनपद के सरपंच संघ ने अध्यक्ष हलमंत ध्रुवा के नेतृत्व में कलेक्टर और जिला पंचायत सीईओ को ज्ञापन सौंपा। सरपंचों ने चेतावनी दी कि यदि उपेक्षा बंद नहीं हुई तो आंदोलन को और व्यापक स्तर पर किया जाएगा।

सरपंच संघ की मुख्य मांगें

  1. ठेकेदारी प्रथा बंद हो – पंचायतों को नजरअंदाज कर 1 लाख तक के छोटे-छोटे कार्य भी ठेकेदारों को दिए जा रहे हैं। मरम्मत और जीर्णोद्धार जैसे काम भी पंचायतों से छीन लिए गए हैं।
  2. मनरेगा कार्यों में समान वितरण हो – केवल चुनिंदा पंचायतों को ही काम दिए जा रहे हैं, जबकि अधिकांश पंचायतें उपेक्षित हैं।
  3. मजदूरों में आक्रोश और पलायन – रोजगार न मिलने से मजदूर रोज़गार की तलाश में गांव छोड़ रहे हैं।
  4. 50 लाख तक के कार्य पंचायतों को मिलें – शासन का आदेश स्पष्ट है, इसके बावजूद जिला प्रशासन ठेकेदारों को लाभ पहुंचा रहा है।

जिला पंचायत सदस्यों का समर्थन

जिला पंचायत सदस्य संजय नेताम ने कहा कि निश्चित ही सरपंचों के साथ भेदभाव नहीं होना चाहिए। सभी पंचायतों को बराबरी से कार्य मिलना चाहिए। पंचायतों के अधिकार छीनकर ठेकेदारों को सौंपना सीधे-सीधे पंचायती राज व्यवस्था पर प्रहार है। पंचायतों को दरकिनार कर जिला प्रशासन न केवल सरपंचों का अपमान कर रहा है बल्कि आम जनता की भावनाओं को भी आहत कर रहा है। हम सरपंचों की इस लड़ाई में कंधे से कंधा मिलाकर खड़े हैं।

जिला पंचायत सदस्य लोकेश्वरी नेताम ने कहा कि सरकार की मंशा है कि पंचायतों को मजबूत बनाया जाए, लेकिन गरियाबंद जिले में हालात इसके विपरीत हैं। पंचायतों की उपेक्षा से ग्रामीण विकास ठप हो रहा है। विशेषकर महिलाएं और मजदूर वर्ग सबसे अधिक प्रभावित हैं। मैं मांग करती हूं कि जिला प्रशासन तत्काल ठेकेदारी प्रथा बंद करे और पंचायतों को उनका हक लौटाए।”

शासन की योजनाएं आएंगी, उसी अनुसार काम कराया जाएगा- सीईओ

जिला पंचायत गरियाबंद सीईओ प्रखर चंद्राकर ने कहा कि, मनरेगा के तहत पीएम आवास निर्माण में 90 दिवस कार्य दिया जा रहा है,इसके अलावा वृक्षा रोपण कार्य भी प्राथमिकता में हैं। शासन के योजनाओं के अनुरूप जैसे कार्य आयेंगे कराए जाएंगे।अन्य विभागों के कार्य के बारे में कुछ नहीं कह सकता।

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