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बस्तर में लाल आतंक पर CM साय सख्त: मुख्यमंत्री बोले- जब तक नक्सलवाद का खात्मा नहीं हो जाता चुप नहीं बैठेंगे

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme: छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने सुकमा-बीजापुर जिले में नक्सलियों के आत्मसमर्पण पर खुशी जाहिर की है। उन्होंने कहा कि, हमारी सरकार की नक्सलवाद उन्मूलन नीति और नियद नेल्लानार योजना से प्रभावित होकर नक्सली बंदूक छोड़ रहे हैं। हमारी सरकार तब तक चुप नहीं बैठेगी, जब तक नक्सलवाद का खात्मा छत्तीसगढ़ से नहीं हो जाता है।

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme:मुख्यमंत्री ने इस मामले में हाल ही में दो अलग-अलग सोशल मीडिया पर पोस्ट की हैं, जो सरकार के नक्सलवाद के प्रति रुख को दिखा रहा है। अपनी पहली पोस्ट में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने लिखा कि सुकमा जिले में सक्रिय 4 इनामी सहित 8 नक्सलियों ने आत्मसमर्पण किए जाने की सुखद खबर प्राप्त हुई।

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme:हमारी सरकार की “छत्तीसगढ़ नक्सलवाद उन्मूलन नीति” और “नियद नेल्लानार योजना” से प्रभावित होकर नक्सली बंदूक छोड़कर समाज की मुख्य धारा में लौट रहे हैं। जिनके पुनरुत्थान के लिए हमारी सरकार तत्पर है।

दूसरी पोस्ट में CM लिखते हैं कि, सुरक्षाबल के जवानों ने अपने शौर्य का परिचय देते हुए बीजापुर जिले से 16 नक्सलियों को गिरफ्तार किया है। जवानों को मिल रही बड़ी कामयाबी से हम नक्सलमुक्त बस्तर की ओर अग्रसर हो रहे हैं। प्रदेश से जब तक नक्सलवाद का खात्मा नहीं हो जाता, तब तक हमारी सरकार चुप नहीं बैठेगी।

क्या है नियद नेल्लानार योजना

नियद नेल्लानार योजना का मतलब आपका अच्छा गांव है। इस योजना के तहत बस्तर के आदिवासियों को कई मूलभूत सुविधाओं से जोड़ा जाएगा। नक्सल प्रभावित क्षेत्र होने की वजह से कई सुविधाएं अब तक आदिवासी क्षेत्रों में नहीं पहुंची है। वह बुनियादी सुविधाएं बस्तर के गांव-गांव तक पहुंचाई जाएगी।

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme:सुकमा, बीजापुर, दंतेवाड़ा, नारायणपुर में विकास कैंप (पुलिस कैम्प) के आसपास के गांव में यह योजना लागू होगी। पिछले कुछ दिनों से लगातार अलग-अलग इलाकों में नए पुलिस कैंप खोलने अभियान चलाए जा रहे थे। इन्हीं कैंपों के आसपास आपका अच्छा गांव योजना शुरू की जाएगी।

इन्फ्रास्ट्रक्चर होगा विकसित

प्रधानमंत्री आवास दिए जाएंगे, प्राथमिक शालाएं खोली जाएगी।
आंगनबाड़ी केंद्र बनेंगे, सामुदायिक भवन और महतारी सदन बनाए जाएंगे।
पेयजल के लिए हर बसाहट में हैंडपंप की सुविधा दी जाएगी।
गांव के केंद्र में हाई मास्ट सोलर लाइट लगाई जाएगी।
युवाओं के लिए खेल मैदान, उप स्वास्थ्य केंद्र, पशु चिकित्सालय बनेंगे।
गांव को मुख्य मार्ग से जोड़ने के लिए सड़क बनेगी।
हर बसाहट में मनोरंजन के लिए केंद्र बनेंगे, जहां पांच टीवी सेट डीटीएच के साथ लगाए जाएंगे।
ब्लॉक मुख्यालय और जिला मुख्यालय में छात्रावास की व्यवस्था की जाएगी।

अब तक 122 ढेर

सरकार नक्सलियों पर दबाव बनाने में कोई कमी भी नहीं छोड़ रही। सर्च ऑपरेशन में नक्सलियों का सामना होने पर एनकाउंटर भी हो रहे हैं। 3 दिसंबर 2023 से शपथ लेने के बाद अब तक बीते 5 महीनों में 122 नक्सली सरेंडर में मारे जा चुके हैं। गृहमंत्री विजय शर्मा ने कहा kf 415 नक्लसियों ने आत्मसमर्पण और 423 गिरफ्तार हुए हैं। उस शुभ दिन का इंतजार है, जब सबसे ज्यादा नक्सली सरेंडर करें।

आजादी के बाद पहली बार बन रही सड़कें

सरकार की ओर से कहा गया कि 257 प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना की सड़कें जिसे पिछली सरकार ने बनाने की कोशिश तक नहीं की थी, उसमें से पिछले चार माह में 11 सड़कों का काम पूरा किया गया है। इसके बाद 85 सड़कें और हैं, जिन्हें चुना गया है। 85 में से 40 सड़कों पर निर्माण कार्य शुरू हो गया है। इन निर्माण कार्यों को पूरा करने के लिए गृह विभाग और पंचायत विभाग दोनों विभागों के अधिकारियों के अलग टीम गठित की गई है।

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme:गृहमंत्री ने बताया कि, इसके तहत एडीजी नक्सल ऑपरेशन विवेकानंद, आईजी नक्सल ऑपरेशन, पंचायत विभाग की ACS निहारिका बारिक इन सभी लोगों की एक संयुक्त टीम बनी है। विभाग की आवश्यकता क्या है और पुलिस महकमे से क्या सहूलियत की, कितने समय में किस आधार पर दी जा सकती है, इसका तुरंत ही टेबल पर निर्णय हो।

Chhattisgarh CM Vishnudev Sai Naxal Elimination Of Naxalism Tweet Niyadanellanar Scheme: इसकी तीन बैठक हो चुकी है। दो बैठक रायपुर में हुई और एक बैठक दंतेवाड़ा में हुई। विशेष रूप से अबूझमाड़ में भी 6 सड़कों का निर्माण प्रारंभ हुआ है। आज तक आजादी के बाद वहां रोड नहीं बन पाए थे।

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