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Ujjain: अपनी मांगों को लेकर आंदोलन करने की तैयारी में 51,953 जन स्वास्थ्य रक्षक, विधानसभा का घेराव करेंगे

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प्रदेश के जन स्वास्थ्य रक्षक 14 मार्च को विधानसभा का घेराव करेंगे। मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की सरकार की उपेक्षा के शिकार प्रदेश के 51 हजार 953 जन स्वास्थ्य रक्षक 14 मार्च को भोपाल में विधानसभा पर धरना प्रदर्शन कर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन सौपेंगे। इसके पहले संगठन ने प्रदेश भर में भाजपा के विधायकों-सांसदों को आखिरी बार मांग पत्र सौंपने का चरणबद्ध कार्यक्रम तय किया है।

यह बातें मध्यप्रदेश जन स्वास्थ्य रक्षक संगठन के प्रदेश अध्यक्ष बीएल प्रजापति ने अन्य पदाधिकारियों की मौजूदगी में कही। प्रजापति ने बताया, मध्यप्रदेश में 50 हजार से ज्यादा जन स्वास्थ्य रक्षक 20 साल से ज्यादा समय से शासन की तमाम स्वास्थ्य योजनाओं के तहत धरातल पर जाकर काम कर रहे हैं। इनका चयन शासकीय नियम के अनुसार परीक्षा निर्देश पूरा करने के बाद हुआ, उसके बाद बरसों बीत चुके हैं पर अभी तक राज्य सरकार और केंद्र सरकार की सुविधाओं का लाभ नहीं मिल रहा है। जबकि पूरे मध्यप्रदेश में जन स्वास्थ्य रक्षक गांव, शहर, तहसील, जिला मुख्यालय और संभाग मुख्यालय पर काम कर रहे हैं।

राज्य सरकार, केंद्र सरकार के सभी अभियान के तहत महत्वपूर्ण जिम्मेदारी निभा रहे हैं। पर राज्य सरकार और केंद्र सरकार ने ध्यान नहीं रखा और अब मध्यप्रदेश के तमाम जन स्वास्थ्य रक्षक विधायक, सांसद, जनप्रतिनिधियों के ऑफिस घर पहुंच कर शिकायती पत्र सौंपेंगे और फिर भी अगर समाधान नहीं हुआ तो 14 मार्च को भोपाल पहुंच कर विधानसभा का घेराव करेंगे।

बीएल प्रजापति के अनुसार, इसके पहले भाजपा के विधायकों-मंत्रियों को ज्ञापन पत्र सौंपकर उनसे जन-स्वास्थ्य रक्षकों की मांगों के समर्थन में मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री व स्वास्थ्य आयुक्त के नाम पत्र लिखने का अनुरोध किया जायेगा। साथ ही प्रदेश के लोकसभा सांसदों व राज्यसभा सांसदों को मांग-पत्र सौंपकर जन-स्वास्थ्य रक्षकों की मांगों के समर्थन में मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री व स्वास्थ्य आयुक्त के नाम पत्र लिखने का अनुरोध किया जाएगा। 14 मार्च को विधानसभा पर प्रदेश व्यापी धरना प्रदर्शन कर मुख्यमंत्री के नाम ज्ञापन दिया जाएगा।

ये हैं जनस्वास्थ्य रक्षकों की प्रमुख मांगें…

  • चार मार्च 2008 को जन स्वास्थ्य रक्षकों की मांगों के संबंध में आयुक्त स्वास्थ्य सेवाएं की अध्यक्षता में गठित समिति की बैठक शीघ्र आयोजित की जाए।
  • आंगनवाड़ी सह ग्राम आरोग्य केन्द्रों पर जन स्वास्थ्य रक्षकों की स्वास्थ्य मित्र के रूप में सेवा ली जाए। 
  • जन स्वास्थ्य रक्षकों के लिए जारी किये गये पूर्व आदेशों को धरातल पर लागू किया जाये। 
  • शासकीय नौकरी के भर्ती नियमों के अनुसार मध्यप्रदेश सरकार से प्रशिक्षण प्राप्त करने के पश्चात परीक्षा उत्तीर्ण करने वाले सभी जन स्वास्थ्य रक्षकों को पंचायत कर्मियों व शिक्षाकर्मियों की भांति स्वास्थ्य विभाग में प्रथम पंक्ति में जोड़कर सेवा का अवसर दिया जाए।

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